मुख्यमंत्री ने वर्क चार्ज कार्मिकों को दी सौगात


जयपुर, 6 फरवरी। मुख्यमंत्रीअशोक गहलोत की पहल पर जल संसाधन विभाग में कार्यरत 1500 कार्य प्रभारित कर्मचारियों की लम्बे समय से चली आ रही पदनाम परिवर्तन की मांग पूरी कर दी है ।

 राज्य सरकार द्वारा सेवा नियमों में संशोधन करने से ऐसे कार्य प्रभारित कार्मिक, जिन्होंने चयनित वेतनमान अथवा एसीपी का लाभ ले लिया है, लेकिन अब तक नियुक्ति के प्रथम पद पर ही कार्यरत हैं उन्हें अगला पदनाम मिल सकेगा।

उल्लेखनीय है कि वर्ष 1994 में राज्य सरकार ने कार्य प्रभारित कर्मचारियां की नई भर्ती पर रोक लगाते हुए वर्ष 1995 में इस संवर्ग को डाइंग कैडर घोषित कर दिया था। इसके चलते जो कर्मचारी प्रथम नियुक्ति के समय जिस पद पर कार्यरत थे, वे अभी तक उसी पद पर कार्य कर रहे हैं।

मुख्यमंत्री ने  संवेदनशीलता से विचार करते हुए अब तक पदोन्नति से वंचित रहे इन कार्य प्रभारित कार्मिकों को अगला पदनाम देने का निर्णय किया है।  गहलोत के निर्देश पर राजस्थान अभियांत्रिकी अधीनस्थ सेवा (सिंचाई शाखा) नियमों में आवष्यक संषोधन कर दिया गया है और इसकी अधिसूचना के प्रारूप का अनुमोदन भी मंत्रीमण्डल द्वारा कर दिया गया है।