जयपुर,27 फरवरी। बूंदी जिले के लाखेरी के पास मेज नदी हादसे में मृतकों का गमगीन माहौल में हजारों लोगों की मौजूदगी में किशोरपुरा मुक्तिधाम में अंतिम संस्कार किया गया।
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने भी इस दर्दनाक हादसे में लोगों की मौत पर दुख व्यक्त किया है । गहलोत ने मुख्यमंत्रीे सहायता कोष से मृतकों के आश्रितों को दो-दो लाख रूपये और घायलों को 40-40 हजार रूपये की सहायता देने की घोषणा की है।
किशोरपुरा मुक्तिधाम पहुंचे चिकित्सा मंत्री व परिवहन मंत्री ने मृतकों के परिजनों से मिलकर उन्हें ढांढस बंधाया। उन्होंने कहा कि दुख की इस घड़ी में सरकार आपके साथ है। मुख्यमंत्री सहित पूरी सरकार उनके साथ खड़ी है। बच्चों की परवरिश में परेशानी नहीं हो इसकी व्यवस्था की जायेगी।
चिकित्सा मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने कहा कि यह बड़ी दुखांतिका है। मुख्यमंत्री ने तत्काल इस घटना पर संवेदनशीलता दिखाते हुए सहायता राशि जारी की तथा घायलों के इलाज के लिए निर्देश दिये। उन्होंने सरकार द्वारा दुर्घटनाओं को रोकने के लिए उठाये गये कदमों की जानकारी देते हुए कहा कि अब निजी अस्पताल भी उपचार से मना नहीं कर सकते।
परिवहन मंत्री खाचरियावास ने संवेदना व्यक्त करते हुए कहा कि इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति नहीं हो यह सुनिश्चित किया जायेगा। पुलिया क्षतिग्रस्त होने के कारणों की जांच कर दुर्घटनाओं को रोकने के लिए ऎसे स्थानों को चिन्हित कर दुरूस्त किया जायेगा।
चिकित्सा मंत्री तथा परिवहन मंत्री महाराव भीमसिंह चिकित्सालय पहुंचे तथा मेज नदी दुखांतिका में घायलों से मिलकर उनकी कुशलक्षेम पूछी। उन्होंने अस्पताल प्रबंधन को उचित ईलाज के साथ विशेष टीम गठित कर निरन्तर देखभाल करने के निर्देश दिये। उन्होंने सर्किट हाउस में प्रशासनिक अधिकारियों के साथ बैठक कर दुखांतिका में प्रभावित परिवारों के बारे में पूरी जानकारी एकत्रित करने तथा परिजनों को सामाजिक सुरक्षा की योजनाओं में भी लाभान्वित करने के निर्देश दिये।
अंतिम संस्कार के समय लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला, कोटा दक्षिण विधायक संदीप शर्मा, पूर्व न्यास अध्यक्ष रविन्द्र त्यागी, कोटा संभागीय आयुक्त एल.एन.सोनी, उपमहानिरीक्षक पुलिस कोटा रेंज रविदत्त गौड, जिला कलक्टर ओम कसेरा, एमआरएस सदस्य क्रांति तिवारी सहित जनप्रतिनिधि एवं गणमान्य लोगों ने उपस्थित रहकर गमगीन माहौल में एक साथ 21 शवों को अंतिम विदाई दी। इसके अतिरिक्त 2 शव बारां व एक शव का नये कोटा के मुक्तिधाम में अंतिम संस्कार किया गया।
यूडीएच मंत्री ने की संवेदना व्यक्त-
स्वायत्त शासन मंत्री शांति धारीवाल ने घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए गहरी संवेदना व्यक्त की तथा मृतकों आश्रितों को दुख सहने की शक्ति प्रदान करने की ईश्वर से कामना की। उन्होंने अपनी संवेदना में कहा कि सम्पूर्ण हाड़ौती के लिए यह दुखद घटना है। एक ही परिवार में 24 लोगों की मृत्यु हृदयविदारक है। सरकार दुख की इस घड़ी में परिजनों के साथ है। उन्होेने जिला प्रशासन को निर्देश देकर शवों को घर तक पहुंचाने के लिए एम्बूलेंस की व्यवस्था करने तथा अंत्येष्टि के लिए इन्तजाम करने के निर्देश दिये। उन्होंने शीघ्र ही परिजनों के घर जाकर मिलने की बात कही।
प्रशासन ने किये विशेष इन्तजाम-
घटना की सूचना मिलते ही कोटा जिला कलक्टर ओम कसेरा ने बून्दी जिला प्रशासन से सम्पर्क कर राहत कार्य की जानकारी लेकर आवश्यक संसाधन मौके पर भिजवायें। उन्होंने कोटा से हाइड्रो क्रेन, एम्बुलेंस की व्यवस्था कर घायलों को कोटा के एमबीएस अस्पताल में भर्ती करने के लिए विशेष वार्ड बनाने के निर्देश दिए। एमबीएस अस्पताल में घायलों से मिलकर उन्होंने घटना की जानकारी ली तथा अस्पताल अधीक्षक नवीन सक्सेना को विशेष चिकित्सक एवं नर्सिंग स्टाफ नियुक्त कर निशुल्क उपचार करने के निर्देश दिए।